आयकर अधिनियम, 1961 की धारा 139(9) का प्रावधान (What is 139(9) in Income Tax in Hindi), आयकर रिटर्न (ITR) दाखिल करते समय गलत या अपूर्ण जानकारी प्रस्तुत करने के मामले में लागू होता है। इस धारा के तहत, यदि किसी व्यक्ति द्वारा आयकर रिटर्न में कोई गलती या त्रुटि पाई जाती है, तो उसे सुधारने के लिए निर्धारित समयसीमा में सुधारात्मक कार्रवाई करनी होती है। यह धारा आयकर रिटर्न फाइलिंग से संबंधित है और किसी भी प्रकार की गलतियों के समाधान के लिए महत्वपूर्ण है।
What is 139(9) in Income Tax in Hindi
Table of Contents
1. धारा 139(9) के अंतर्गत त्रुटि के प्रकार
त्रुटि का प्रकार | विवरण | समाधान |
---|---|---|
सही रिटर्न नहीं जमा किया गया | अगर आयकर रिटर्न सही तरीके से नहीं भरा गया है। | रिटर्न को सही करके पुनः दाखिल करें। |
दस्तावेज़ की कमी | आयकर रिटर्न में आवश्यक दस्तावेज़ शामिल नहीं हैं। | दस्तावेज़ जोड़कर रिटर्न को सही करें। |
गणना में गलती | आयकर रिटर्न में आय, छूट या कटौती की गणना में गलती की गई हो। | सही गणना के साथ रिटर्न भरें। |
गलत PAN या अन्य व्यक्तिगत विवरण | पैन कार्ड या अन्य व्यक्तिगत जानकारी गलत तरीके से दी गई हो। | सही विवरण के साथ रिटर्न को सही करें। |
बिना सही हस्ताक्षर के दाखिला | रिटर्न पर उचित हस्ताक्षर न होना। | सही हस्ताक्षर कर रिटर्न को प्रस्तुत करें। |
2. धारा 139(9) का महत्व
धारा 139(9) आयकर रिटर्न के एक सशक्त सुधार तंत्र के रूप में कार्य करती है। यदि रिटर्न दाखिल करते समय किसी प्रकार की कोई गलती या त्रुटि पाई जाती है, तो आयकर विभाग इसे नोटिस जारी कर सुधारने का मौका देता है। इस धारा के तहत सुधारात्मक कार्रवाई की आवश्यकता तब होती है जब आयकर रिटर्न में त्रुटि के कारण रिटर्न स्वीकार नहीं किया जाता है।
स्थिति | विवरण |
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रिटर्न स्वीकार नहीं | यदि रिटर्न में कोई त्रुटि पाई जाती है, तो आयकर विभाग इसे अस्वीकार कर सकता है। |
सुधार का अवसर | धारा 139(9) के तहत, त्रुटि को सुधारने का अवसर दिया जाता है। |
समयसीमा | सुधार के लिए निर्धारित समय सीमा 15 दिन होती है। |
3. धारा 139(9) के तहत सुधार की प्रक्रिया
कदम | विवरण |
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1. आयकर रिटर्न की जांच करें | सबसे पहले, रिटर्न की पूरी तरह से जांच करें और त्रुटियों को पहचानें। |
2. नोटिस प्राप्त करें | यदि रिटर्न में कोई त्रुटि पाई जाती है, तो आयकर विभाग द्वारा नोटिस भेजा जाता है। |
3. सुधार करें | नोटिस के अनुसार, सुधारात्मक कार्रवाई करें और सही जानकारी भरें। |
4. सही रिटर्न दाखिल करें | त्रुटि सुधारने के बाद, सही रिटर्न फिर से दाखिल करें। |
5. पुनः आयकर विभाग से पुष्टि प्राप्त करें | रिटर्न स्वीकार होने के बाद, आयकर विभाग से पुष्टि प्राप्त करें। |
4. आयकर रिटर्न में त्रुटियां और उनका समाधान
त्रुटि का प्रकार | समाधान | अतिरिक्त जानकारी |
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पैन कार्ड संख्या में गलती | सही पैन कार्ड विवरण भरें और रिटर्न सुधारें। | यदि पैन कार्ड गलत है, तो आप इसे सुधार सकते हैं। |
आय का गलत विवरण | आय को सही तरीके से दिखाएं। | सही आय दिखाने से आपकी आयकर रिटर्न सही तरीके से दाखिल होती है। |
गलत कटौती या छूट | छूट और कटौती का सही विवरण भरें। | आयकर की धारा 80C, 80D के तहत छूट की सही जानकारी देना जरूरी है। |
गलत खाता विवरण | बैंक खाता संख्या और IFSC कोड की जानकारी सही भरें। | किसी भी अन्य गलत जानकारी से बचें। |
सही दस्तावेज़ न होना | रिटर्न के साथ सही दस्तावेज़ जोड़े। | सही दस्तावेज़ों के बिना रिटर्न अप्रूव नहीं किया जा सकता। |
5. धारा 139(9) से संबंधित जुर्माना
स्थिति | जुर्माना | विवरण |
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रिटर्न में सुधार नहीं किया | ₹5,000 | रिटर्न में सुधार न करने पर जुर्माना लगाया जा सकता है। |
रिटर्न को समय पर दाखिल नहीं किया | ₹5,000 तक | यदि रिटर्न समय पर नहीं दाखिल किया गया, तो जुर्माना लगाया जा सकता है। |
6. धारा 139(9) का व्यावसायिक महत्व
धारा 139(9) का व्यावसायिक दृष्टिकोण से भी महत्वपूर्ण महत्व है। यह विशेष रूप से उन व्यक्तियों और कंपनियों के लिए महत्वपूर्ण है, जो आयकर रिटर्न दाखिल करते समय छोटे-मोटे त्रुटियों से बचना चाहते हैं। इस धारा का पालन करने से एक व्यवसाय या व्यक्तिगत करदाता को अपना रिटर्न जल्दी स्वीकार कराने में मदद मिलती है और समय से पहले भुगतान करने में भी आसानी होती है।
लाभ | विवरण |
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समय की बचत | रिटर्न में त्रुटि सुधारने से समय की बचत होती है। |
जुर्माने से बचाव | सुधार करके जुर्माने से बचा जा सकता है। |
कर भुगतान में आसानी | सही जानकारी से कर का भुगतान आसानी से किया जा सकता है। |
7. धारा 139(9) से जुड़ी सामान्य गलतियाँ
गलती | विवरण |
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आय की गलत गणना | कई बार लोग अपनी आय को सही से नहीं दिखाते। |
छूट का गलत दावा | अगर सही छूट का दावा नहीं किया जाता तो रिटर्न अस्वीकार हो सकता है। |
गलत पैन कार्ड | पैन कार्ड की जानकारी सही भरना महत्वपूर्ण है। |
गलत दस्तावेज़ | दस्तावेज़ों का गलत या अधूरा होना त्रुटि का कारण बनता है। |
What is 139(9) in Income Tax in Hindi FAQ (सामान्य प्रश्न)
1. क्या धारा 139(9) के तहत सुधार करने के बाद रिटर्न फिर से दाखिल करना जरूरी है?
हां, यदि कोई त्रुटि पाई जाती है, तो उसे सुधारने के बाद रिटर्न फिर से दाखिल करना जरूरी होता है।
2. क्या धारा 139(9) के तहत सुधार करने की कोई समय सीमा है?
हां, सुधार के लिए 15 दिन की समय सीमा होती है। यदि इसे पूरा नहीं किया गया, तो रिटर्न अस्वीकार हो सकता है।
3. क्या धारा 139(9) के तहत जुर्माना भी लगाया जा सकता है?
हां, अगर आप सुधार नहीं करते, तो जुर्माना लगाया जा सकता है।
4. क्या सुधार के बाद रिटर्न वापस स्वीकार किया जाता है?
अगर सुधार सही तरीके से किया गया है, तो आयकर विभाग रिटर्न को स्वीकार करता है।
5. क्या रिटर्न में सुधार करने के लिए मुझे किसी भी दस्तावेज़ की आवश्यकता होती है?
हां, सुधार करने के लिए संबंधित दस्तावेज़ों की आवश्यकता होती है, जैसे पैन कार्ड, आय विवरण, और अन्य संबंधित कागजात।